नशीली दवा एवं मादक पदार्थ (एनडीपीएस) अधिनियम की समीक्षा में सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय ने राजस्व विभाग से निजी इस्तेमाल के लिए कम मात्रा में ड्रग्स की बरामदगी को अपराध की श्रेणी से बाहर करने की सिफारिश की है. मंत्रालय की तरफ से ये रिपोर्ट राजस्व विभाग को भेज दी गई है.
ज्ञात रहे कि वर्तमान में एनडीपीएस अधिनियम के तहत थोड़ी मात्रा में भी ड्रग्स बरामदगी पर किसी तरह के राहत या छूट का प्रावधान नहीं है. इस अधिनियम के अनुसार आरोपी अभियोजन और जेल से तभी बच सकता है जब वो खुद ही पुनर्वास केंद्र जाने की इच्छा जाहीर करे.
खबरों के मुताबिक मंत्रालय ने राजस्व विभाग को निजी इस्तेमाल के लिए कम मात्रा में रखे गए ड्रग्स के लिए आरोपी को जेल भेजने की बजाए सरकरी उपचार केंद्र में भेजा जाए.
सामाजिक विभाग की ये सिफारिश ऐसे समय में आई है जब बॉलीवुड अभिनेता शाहरुख के बेटे आर्यन खान का ड्रग्स मामले में गिरफ्तारी का मामला गरमाया हुआ है. ज्ञात रहे कि मुंबई में क्रूज पर चल रहे पार्टी में एनसीबी ने छापा मारा था. इसमें शाहरुख के बेटे की भी गिरफ्तारी हुई थी. लगातार चौथी बार आर्यन खान की जमानत याचिका खारिज हो चुकी है और वो अभी जेल में हैं.